On this page we have given an article on Debate in Hindi for Students. The name of the topic is समाज पर समाचार चैनलों का प्रभाव ।
Debate – समाज पर समाचार चैनलों का प्रभाव ।
आज हम 24 घंटे कई चैनलों पर समाचार सुनने या देखने के लिए मिलते हैं। लेकिन कुछ साल पहले दिन में एक या दो घंटे ही समाचार दिखाए जाते थे। लेकिन आज समाचार के लिए अलग से चैनल बनाए गए हैं। जो दिन रात समाचार लोगों को दिखाते रहते हैं। इस वजह से सभी लोग दुनिया से जुड़े हुए रहते हैं। यह समाचारों के चैनल अलग-अलग भाषा में भी हमें उपलब्ध किए जाते हैं। दुनिया में जो भी घटना होती है वह घटना हमारे सामने लाने के लिए यह समाचार चैनल हमेशा ही तत्पर रहते हैं। ऐसा कहते हैं की समाचार चैनल लोकतंत्र को मजबूत बनाने की भूमिका भी निभाते हैं।
न्यूज चैनल मतलब समाचार चैनलों का उद्देश्य यही है कि दुनिया में जो भी घटनाएं होती है उन्हें लोगों के सामने लाना। वह घटना किस वजह से हुई उसमें सही क्या है गलत क्या है इस पर चर्चा करके लोगों को घटना के बारे में जानकारी देना। इन्हीं समाचार चैनलों की वजह से ही हम दुनिया से जुड़ पाते हैं सभी विषयों की जानकारी हमें मिलती है। सभी घटनाओं को समाचार चैनल समाज के सभी लोगों तक मतलब रईस आदमी से लेकर गरीब आदमी तक पहुंचाता है।
यह सभी समाचार चैनल दुनिया भर में दिखाए जाते हैं। कभी-कभी समाचार चैनल कुछ घटनाएं बड़ा चढ़कर कहते हैं। यह करते वक्त उनका यह ध्यान रखना चाहिए की समाचार चैनलों का सबसे बड़ा प्रभाव समाज पर पड़ता है। कई बार लोगों तक गलत जानकारी पहुंचती है। इस वजह से लोग तिलमिला उठाते हैं। कुछ गलत कदम भी उठाते हैं। इसी वजह से समाचार चैनल को जो भी दिखाना है इसका अभ्यास पूर्ण तरीके से करना चाहिए। नहीं तो लोगों के मन में समाचार चैनलों के विषय में गलत धारणाएं निर्माण होगी।
कई सालों पहले समाचार चैनल की संख्या बहुत कम थी। कई चैनलों पर समाचार एक या दो घंटे ही दिखाते थे। इस वजह से लोग भी समाचार एक जगह बैठकर सुनते थे उनका समाज पर ज्यादा प्रभाव नहीं पड़ता था। जिस तरह वह मनोरंजन के चैनल देखते थे उसी तरह न्यूज़ को भी मनोरंजन और अपने ज्ञान में वृद्धि करने हेतू देखते थे। लेकिन आज 24 घंटे समाचार दिखाए जाते हैं। लोग यह समाचार रुचि लेकर देखते हैं। लेकिन 24 घंटे यही देखने की वजह से इसका सकारात्मक और नकारात्मक परिणाम समाज पर होता हैं।
कई बार गलत जानकारी लोगों तक पहुंचाने की वजह से लोग क्रोधित होते हैं। हड़ताल करते हैं सरकारी वस्तुओं को हानी पहुंचाते है। कई बार लोगों में दहशत भी बनती है। कई बार न्यूज़ चैनल पर अपराध की जानकारी दी जाती है वह अपराध की जानकारी विस्तार पूर्ण दी जाती है। उसमें अपराध के पास वह अपराध किस तरह से किया गया अपराध क्यों किया गया यह सब जानकारी बताते हैं। इसका समाज पर सकारात्मक प्रभाव भी पड़ता है। लोग इससे सावधान किस तरीके से रहना चाहिए वह समझते हैं। लेकिन कभी-कभी इन घटनाओं का समाज पर नकारात्मक प्रभाव भी पड़ता है और इस वजह से अपराधों की संख्या भी बढ़ जाती है। वह अपराध किस तरीके से छुपाना चाहिए यह भी लोग जान जाते हैं।
समाचार चैनलों को लोकतंत्र का चौथा स्तंभ कहा गया है। इस वजह से उन्हें अपना काम सच्चाई से और पूरी निष्ठा से करना चाहिए लेकिन कई लोग ऐसे हैं जो समाचार चैनलों को बदनाम करते हैं वह अपना काम पूरी निष्ठा से ईमानदारी से नहीं करते इस वजह से भी समाज पर इनेलो का नकारात्मक प्रभाव बढ़ता है। जो लोग 24 घंटे समाचार चैनल देखते हैं उन्हें पता होता है कि समाज में कितने सारे अपराध होते हैं इस वजह से वह किसी भी मनुष्य पर पूरी तरह विश्वास नहीं कर पाए। वह अपने आप को भी असुरक्षित महसूस करते हैं। इस नकारात्मकता का असर उनके दिमाग पर और उनके सेहत पर भी पड़ता है।
इस वजह से समाचार चैनलों को सभी घटनाएं दिखानी चाहिए लेकिन समाज के लोग सकारात्मक विचार करें और उनके विचार प्रभावशाली बने, ऐसी घटनाओं से वह प्रेरणा ले और अपना जीवनमान सुधारे ऐसी घटनाएं उन्हें बार-बार दिखानी चाहिए। अगर वह नकारात्मक घटनाएं ही दिखाते रहेंगे तो समाज पर इसका बुरा असर हो सकता है और समाचार चैनलों का उद्देश्य समाज में क्रांति लाना, समाज को प्रेरणा देना, उन्हें सच्चाई से वाकिफ करना, एक तरह से समाज की मदद करना यह होता है ना की नकारात्मक सोच फैला कर उन्हें अपराधों की ओर ले जाना और मनुष्य को मनुष्य से ही अलग कर देना है।