कोरोना वायरस की बीमारी कोवीड-19 से भी जानी जाती है। कोरोना की बीमारी पूरे विश्व में फैली हुई थी,जिसका जन्म चीन में हुआ। कोरोनावायरस एक वैश्विक चुनौती है, जो पूरे विश्व को भुगतना पड़ा। कई देशों में अमेरिका, इटली ,जापान, चीन और हमारे भारत देश में आई थी। 2019 से 2021 में भारत में कई हानी हुई इस कोवीड-19 कई नुकसान भी हुआ।
कोरोना: एक वैश्र्विक चुनौती पर लघु और दीर्घ निबंध (Short and Long Essay on Corona: a global challenge in Corona: a global challenge par Nibandh Hindi mein)
कोविड -19 में मानव जाति तथा जनावर में भी फैला हुआ था ।कोवीड-19 संक्रमण वायरस है। जो एक से दूसरों में जल्दी से जल्दी फैलता है,उसमें व्यक्ति को बुखार,खांसी, सर्दी तथा फेफड़ों में कब,नाक से पानी आना ऐसे लक्षण दिखते हैं ।कोवीड ज्यादा तौर पर भीड़ में ज्यादा संक्रमण होता है। जहां पर हम एक दूसरे के करीब ज्यादा आते हैं। कोवीड के ज्यादा चांस हमारी सांस,छिंक या खांसने से होते हैं। जो संक्रमण वायरस होकर हवा में जल्दी मिलता है। कोवीड-19 में मानव जाती की बहुत ज्यादा तौर पर हानि हुई, कई अपनी जान से भी हाथ धो बैठे। कुछ बीमारी से बचकर निकली पर पहले जैसी मजबूत नहीं रहे।
कोरोना नें एकदम बवाल मचा दिया था।वह नहीं बीमारी थी, हॉस्पिटल में डॉक्टर को भी कुछ समझ में नहीं आ रहा था। उस पर किसी भी दवाई का असर नहीं हुआ था। फिर दवाई बनाने तब तक बहुत जानें गंवानी पड़ी।कोरोना वैक्सीन भी निकाली वो बड़ों को ही थी बच्चों को नहीं देनी थी।कोरोना मैं खाने के वादे पढ़ रहे थे। सब कुछ बंद था,वह जो गांव में रहते थे उनका ठीक था, कि वह पेट भर कर खाना खाते थे। पर शहरों में पैसे हो कर भी कुछ खरीद नहीं सकते थे। घर से बाहर जाने में भी डर लगता था। सब जगह अफला-तफलीं फैलीं हुई थी। कोरोना से बचने के लिए हमें सैनिटाइजर और मास्क का उपयोग करना चाहिए। मास्क लगाने से हम बीमार व्यक्ति के जंतु हमारे मुंह से नहीं आते हैं।जिसे वह हमारे मुंह में जाकर घसेंसे फेफड़ों में जाकर हमें कमजोर करके बीमार बना ना सके।
सैनिटाइजर से जंतु का नाश होता है,तो वह बहुत टाइम में हमें उसका उपयोग करना चाहिए। दो व्यक्ति के बीच हमें ज्यादा से ज्यादा दूरी रखनी चाहिए, खांसते,या छिंकते समय मास्क या रुमाल का उपयोग करना चाहिए।जिससे बीमारी औरों को ना हो इसका हमें ध्यान रखना चाहिए। कोरोना एक वैश्विक चुनौती थी।मानव जाति और सभी जानवरों के लिए ,उसे बहुत हानि हुई थी। कई जानें गंवानी पड़ी कई व्यापारियों को नुकसान हुआ सब बंद होने के कारण खाने-पीने के बहुत हाल हुए थे, कुछ आर्थिक हानि भी हुई।
हमारे भारत देश में इस कोरोना वायरस को एक वैश्विक चुनौती कहां है। मानव जीवन की रक्षा करने के लिए हमारे देश के सभी लोगों ने मिलकर इस समस्या को हल निकाल कर चुनौती को मुंहतोड़ जवाब दिया है। कोरोना की वैक्सीन खोजी हैं। सब का इलाज अच्छे से करवाया। आर्थिक हानि को संभालते हुए फिर से उसे एक नया मोड़ देकर बचाया। कोरोना काल में हुई बेरोजगारी को अपने तरीके से सबको घर में खाना पहुंचाकर, उपलब्ध करके चुनौतियों को जवाब दिया।व्यापार और कारखानों को अच्छे से पुनः शुरू करके बेरोजगार को रोजगार दिलाया। हमारे पड़ोसी से और दोस्तों से फिर से अच्छे से संबंध बनाने की कोशिश की एक चुनौती थी जो कोरोना काल में दूर हो गए थे।
हमारे पंतप्रधान नरेंद्र मोदी जी जो भगवान के रूप में इंसान बनकर हमारे भारत देश को मिला एक वरदान है। जिन्होंने सब कुछ अच्छे से संभाल कर सब को समय पर दवाई या देकर सब कुछ कम समय में संभाल लिया। वह हमारे लिए संकट मोचन बंद कर आए। मोदी जी अगर ऐसे ही काम करेंगे तो हमारे देश के लिए कोई भी संकट का सामना करने के लिए असंभव नहीं होगा। कोरोनावायरस से हमारे देश में कुछ अफरा-तफरी मच गई थी। सब कुछ बिखरने वाला था। सब भयभीत होकर हारने लगे थे। इसलिए कोरोनावायरस को भारत देश ने महामारी की बीमारी कहा। जो भारत देश के इतिहास में एक वैश्विक चुनौती था। जिसे खत्म करके उस पर 2020 में विजय पाया गया।
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