Chhattisgarh State Class 5 Hindi Chapter 21 सुनता के डोर Solution
Chhattisgarh State Board Class 5 Hindi Chapter 21 सुनता के डोर Exercise Multiple Choice, Fill in the Blanks, Questions and Answers here.
सुनता के डोर
गतिविधि
गुरुजी ह कक्षा के लइका मन ल दू दल म बाँट के एक दूसर ल मुँहअखरा प्रश्न पूछे ल कय-
क. कउँदा परेवा ल कइसे बिसवास देवइस ?
कवि ने चूहे से कहा कि अगर हम मित्र बन जाए तो मैं तुम्हारा अहित कभी नहीं देखूंगा। लेकिन अगर तुमने मेरा मित्र बनने से इनकार कर दिया तो मैं बिन खाए पिए ही मर जाऊंगा इस तरह से कौवे ने चूहे को विश्वास दिलाया।
ख. चारों मितान गोठियावत रहिथे त मिरगा है आके का कहिथे ?
जब चारो मित्र बातें कर रहे थे, तब हिरण आंके कहता है कि बहुत बड़ा संकट आने वाला है। अगर अपनी जान बचानी है तो यहां से भाग लो। नदी के किनारे एक राजा के सैनिक आए हैं। वे यहां से गुजरेंगे हम उनके पैरों के नीचे आएंगे।
ग. मुसवा ह फाँदा ल नइ काटतिसत का होतिस ?
शिकारी ने कछुए के लिए जो जाल डाला था उसमें कछुआ बस गया यही जाल चूहे ने काट दिया।
घ. सिकारी के मन म का बात आइस ?
शिकारी के मन में कछुआ को पकड़ने की बात आ गई।
बोध प्रश्न
प्रश्न 1. खाल्हे लिखाय प्रश्न के उत्तर लिखव
क. परेवा अउ मुसवा ल देख के कउँवा के मन न का बिचार आइस ?
कबूतर और चूहे को देख के कौवा सोचने लगा कि मैं भी इनके साथ मित्रता कर लूं।
ख.मुसवा के तीर म जाके कऊँचा हा ओला का कहिस ?
मुझे तुम्हें और कबूतर को देखकर मेरे मन में मित्रता जाग गई है। मुझे भी तुमसे मित्रता करनी है। मुझे अपना मित्र बनाओ। यह बात कभी नहीं चूहे से कहीं।
ग. मुसवा ह कउँवा ल मितान काबर नइ बनावैव कहिस ?
चूहे को कौवे पर विश्वास नहीं था। इसीलिए चूहे ने कौवे से कहा कि हमें तुमसे मित्रता नहीं करनी।
घ.मुसवा ह कउँवा ल मितान कइसे बना लिस ?
कवि ने चूहे को विश्वास दिलाया कि मैं तुमसे जब मित्रता करूंगा तो मैं तुम्हारा अहित नहीं सोचूंगा और किसी को भी तुम्हारा अजीत नहीं करने दूंगा। इस वजह से चूहे ने कौवे को अपना मित्र बना लिया।
ड. दुकाल परिस त कउँवा ह अपन संगवारी मन ल कहाँ लेगिस, अउ उहाँ कोन मिलिस ?
दूसरे जगह पर कौआ अपने मित्रों को ले गया। तब उसे वहां पर उसका मित्र कछुआ मिल गया।
च. नदिया के करार म कोन मन ठाढ़े रिहिस, अउ ओला सबो सँगवारी मन काबर डवित रहिन ?
नदी के किनारे एक राजा की सी थी वह सबको डरा रही थी।
छ. केछुवा ल शिकारी के फाँदा ले उबारे बर कउँवा ह का उदिम करिस ?
कौए ने हिरण को नदी के किनारे सुलाया और उसके पीठ पर चढ़कर उस पर चोट मारने लगा। यह देखकर शिकारी ने कछुआ को छोड़ दिया और हिरण के पीछे दौड़ा।
प्रश्न 2. कहानी ल पढ़के बतावद ए गोठ ल कोन ह कोन ल किहिस ?
1.) मय ह तोर विनती करत हैंव तेंय ह मोला अपन मितान बना लेते त बढ़िया हो जातिस ।
कौए ने चूहे से
2.) बड़े जबर दुख अवइया हे, बाँचे बर हे त तुरते भाग चलव ।
हिरण ने चूहे से
3.) कौए ने अपने मित्रों से ये जंगल ल छोड़ के जाय न हमर मलइ है, जियत रहिबो त इहाँ अउ आ जाबो
प्रश्न 3. खाल्हे म लिखे वाक्य ल पढ़व अउ बिचार के लिखव का होतिस ?
1.) कउंवा ह सँग म नइ रहितिस ।
अगर कौवा चूहा और कबूतर के संग में ही रहता तो यह दोनों खाने के दाने के लिए तरस जाते।
2) शिकारी ह फाँदा ल फेंक के मिरगा मेर नइ जातिस प्रश्न
अगर शिकारी कछुए को छोड़कर हिरण के पीछे नहीं जाता तो शिकारी कछुए को मार डालता।
प्रश्न 4. सुनता के डोर पाठ म तुमन ल काकर काम अउ गोठ ह बने लागिस अउ काबर ? अपन बिचार पाँच वाक्य म लिखव ।
1.) तुमन कोन कोन छत्तीसगढ़ी कहावत ल जानथव, सोच अउ लिखव ।
हमें हिरण का काम इस पाठ में ज्यादा अच्छा लगा, क्योंकि उसने अपनी जान पर खेल कर कछुए की जान बचाई।
भाषा अध्ययन अउ व्याकरण
गतिविधि
प्रश्न 1. खाल्हे लिखाय वाक्य म सही-सहीं विराम चिह्न लगावव-
पहिली तो दुनो झन नइ मानिन फेर कउँदा ह जिद करिस त परेवा अउ मुसवा मन जाय बर राजी होगे। मुसुवा ल कऊँवा ह अपन चोच म उठा लिस अउ परेवा हवा में उड़ावत ओकर संग चल दिस।
प्रश्न 2. संज्ञा के सँग मन’ प्रत्यय लगा के वचन बदलव-
जइसे मैं तोर कभू अनहित नइ होन देवव ।
उत्तर- मैं तुहरमन के कभू अनहित नइ होन देवव ।
1.) मिरगा दउडत आइस ।
मिरागा मन दउडत आइस।
2.) कछुवा ल फाँदा म फँसा डारिस ।
कछुवामन ल फाँदा म फँसा डारिस ।
3.) मुसवा के तिर म चल दिस।
मुसवामन के तिर म चल दिस।
4.) मछरी तउरत है।
मछरीमन तउरत है।
प्रश्न 3. पढ़व अउ समझव-
क. मोला अपन मितान बना लेबे ।
ख.बिन खाय पिये मर जाहूँ ।
ग. मुसवा ह जाय बर राजी होगे।
घ. चारो सँगवारी मन रोए लागिन ।
उपर म लिखाय वाक्य मन ल चेत लगा के पढ़व अउ रेखा खिंचाय शब्द मन ल गुनव “जेन शब्द मन ले कउनो बुता / काम होय के अउ करे के पता लगथे, ओला क्रिया केहे जाथे।” पाठ म आय पाँच क्रिया शब्द छाँट के लिखव ।
मुसबा ल कउँचा ह अपन चोंच में उठा लिस अउ परेवा हवा में उडावत ओकर संग चल दिस।
उठा लिस , उडावत
एक दिन ये चारों मितान गोठियात रिहिन तभे एक उन मिरगा दउडत दर्जेडत तीर म आ गे।
दउडत
इहाँ ले दुरिहा म दुसर हरियर-हरियर जंगल अउ तरिया है, उहाँ जाके रहिबो।
राहिबो
प्रश्न 4. खाली जघा म लकीर खिंचाय शब्द मन के उल्टा अर्थ वाले शब्द भरव ।
क. परेवा अउ मुसवा मितान आय फेर कउँवा शत्रु आय।
खा. मिरगा अउ कउवा तीर में चल दिस त कछवा ह दूर म रिहिस।
ग.तोर मेर कमती पइसा हे मोर मेर ज्यादा पइसा है।
घ. घोड़ा अतलंगहा होथे, बइला ह सीधा होथे।
ड.सुनता म बड़े-बड़े काम बन जाये अउ अकेले म बिगड़ जथे।